दूसरे रात्रि प्रवास के लिए फाटा पहुंची बाबा की पंचमुखी उत्सव डोली
कल गौरीकुंड में होगा डोली का अंतिम रात्रि प्रवास
डोली के साथ चल रहे हजारों की संख्या में भक्त
रुद्रप्रयाग। भगवान केदारनाथ की पंचमुखी चल विग्रह डोली यात्रा अपने दूसरे पड़ाव के तहत फाटा पहुंची। इस दौरान बड़ी संख्या में स्थानीय भक्तों ने डोली का फूल मालाओं के साथ भव्य स्वागत किया। बम बम भोले और जय बाबा केदार के जयघोषों के साथ सम्पूर्ण माहौल भक्तिमय हो गया।


बाबा केदार की डोली यात्रा को लेकर भक्तों में काफी उत्साह है। बड़ी संख्या में भक्त बाबा की डोली के साथ नंग पैर चल रहे हैं। शुक्रवार को डोली शीतकालीन गद्दीस्थल ओंकारेश्वर मंदिर से रवाना हुई थी और प्रथम रात्रि प्रवास के लिए गुप्तकाशी स्थित विश्वनाथ मंदिर पहुंची थी। शनिवार सुबह डोली ने विश्वनाथ मंदिर गुप्तकाशी से फाटा के लिए प्रस्थान किया। गुप्तकाशी में विश्वनाथ मंदिर में ही भक्तों का हुजूम उमड़ पड़ा। लोग डोली के साथ काफी आगे तक गए। सेना के बैंड के साथ भक्तों ने जमकर नृत्य भी किया। गुप्तकाशी से डोली नाला, नारायणकोटी, ब्यूंग, मैखंडा होते हुए फाटा पहुंची। फाटा में पहले से ही भक्त डोली की अगुवाई के लिए मौजूद थे। जैसे ही डोली फाटा बाजार पहुंची तो भक्तों में और भी उत्साह देखा गया। काफी देर तक भक्त बाबा केदार के जयघोषों करते रहे। इसके बाद बाबा की डोली विधिवत स्थान पर ठहराई गई, जहां पूजा अर्चना की गई। रविवार को डोली फाटा से प्रस्थान कर गौरीकुंड पहुंचेगी। इसके बाद 24 अप्रैल को डोली केदारनाथ धाम पहुंच जाएगी और 25 अप्रैल की सुबह बाबा केदारनाथ के कपाट आम श्रद्धालुओं की दर्शनार्थ खोल दिए जायेंगे। इस मौके पर केदारनाथ विधायक शैलारानी रावत, डोली प्रभारी प्रदीप सेमवाल, पुजारी शिव लिंग, केदारसभा के अध्यक्ष राजकुमार तिवारी, रमेश जमलोकी, भरत कुर्माचली, विष्णुकांत कुर्माचली, पंचगाई के लोगों के साथ ही बड़ी संख्या में स्थानीय भक्त मौजूद थे।


